अदालतों में लंबित मामले गरीबी से भी ज्यादा खतरनाक: महताब

नई दिल्ली, 26 फरवरी (जनसमा)। लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर बोलते हुए शुक्रवार को ओडीशा के कटक से बीजू जनता दल के संसद सदस्य भर्तृहरि महताब ने कहा कि सरकार को देश की आंतरिक सुरक्षा पर गंभीरता से ध्यान देना चाहिए। पठानकोट की घटना यह बताती है कि सुरक्षा चुनौतीपूर्ण है।

उन्होंने चाणक्य का उदाहरण देते हुए राजनीति और सत्ता के संदर्भ की व्याख्या करते हुए कहा कि आंतरिक सुरक्षा सबसे ज्यादा जरूरी है।

महताब ने भारतीय न्यायप्रणाली में सुधार की बात कही और कहा कि इस समय अदालतों में 32 मिलियन मामले बिना किसी निर्णय के पड़े हैं। यह गरीबी से भी ज्यादा खतरनाक है।

उन्होंने चाणक्य के संदर्भ में कहा कि उनका कहना था कि हर मामले में राज्य को उलझना नहीं चाहिए बल्कि प्रशासन को अपना काम करने देना चाहिए।