माउंटेन बाइकिंग : नई ऊंचाइयां छूने को तैयार देवेंद्र ठाकुर

17042016 Devendra Thakur Mountain Bikingशिमला, 17 अप्रैल | हीरो एमटीबी शिमला रैली में जीत की हैट्रिक लगाने वाले शिमला के देवेंद्र ठाकुर की पहचान देश के अग्रणी माउंटेन बाइकर के तौर पर होती है। कुल्लू के एक जनजातीय परिवार से ताल्लुक रखने वाले देवेंद्र ओलम्पिक में हिस्सा लेना चाहते हैं और इसी को ध्यान में रखकर तैयारियां कर रहे हैं।

हीरो एमटीबी टीम के सदस्य और शिमला के कई किशोर चालकों के लिए प्रेरणास्रोत देवेंद्र ने शनिवार को शिमला रैली में पहला स्थान हासिल किया। वह न सिर्फ इस कठिन रैली में खिताब बचाने में सफल रहे बल्कि अपनी रफ्तार और शारीरिक कौशल से शिवालिक की पहाड़ियों के दुरूह रास्तों को चीरने की क्षमता रखने वाले अनेक किशोरों को भी मुख्यधारा में लाने में सफल रहे।

देवेंद्र की टीम के सदस्य 16 साल के अक्षित गौर ने शिमला रैली में स्टुडेंट वर्ग में पहला और ओवरऑल वर्ग में दूसरा स्थान हासिल किया। यह अक्षित जैसे भावी चालकों के लिए बहुत बड़ी सफलता है। इसमें देवेंद्र का महान योगदान है। देवेंद्र ही हैं, जो अक्षित के मेंटॉर की भूमिका अदा कर रहे हैं। देवेंद्र को भी अक्षित की सफलता पर नाज है।

कुफरी के करीब चीनी बंगला में फिनिश लाइन सबसे पहले पार कर मेन सोलो वर्ग का खिताब जीतने वाले देवेंद्र ने आईएएनएस से बातचीत में कहा, “अक्षित में बहुत प्रतिभा है। वह हर कठिनाई का सामना करने को तैयार है। शिमला रैली के रेस ट्रैक को हमने अभ्यास के दौरान कई बार पार किया। इसी दौरान मुझे अहसास हो गया कि अक्षित इस साल जरूर अच्छा प्रदर्शन करेगा।”

देवेंद्र खुद तो शीर्ष पर विराजमान हैं और अब वह एक मेंटॉर के तौर पर शिमला में बाइकिंग का शौक रखने वाले स्कूली छात्रों को आगे लाकर उन्हें प्रेरित कर रहे हैं। इस क्रम में देंवेद्र को प्रायोजक हीरो के साथ-साथ शिमला तथा एमटीबी हिमालया जैसी रैलियों का आयोजन कराने वाले हिमालया एडवेंचर एंड टूरिज्म प्रोमोशन एसोसिएशन (हस्तपा) की मदद मिल रही है।

शिमला निवासी व्यवसायी और एडवेंचर स्पोर्ट्स प्रोमोटर मोहित सूद और उनके भाई आशीष सूद की देखरेख में हस्तपा ने शिमला रैली का पांचवीं बार सफल अयोजन कराया है और सितम्बर में एमटीबी हिमालया रैली के 13वें संस्करण का आयोजन कराने की तैयारी में है। एमटीपी हिमालया रैली को भारत का सबसे कठिन साइकिल रैली माना जात है।

मोहित और आशीष के साथ एक पूरा कुनबा है, जो आज देश में साइकिलिंग प्रतिभाओं की तलाश में जुटा है। इन दो भाइयों ने अपने अथक प्रयास से न सिर्फ देवेंद्र और अक्षित जसी प्रतिभाओं को खोजा है, बल्कि उन्हें अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रशिक्षण भी दिलाने की तैयारी में हैं।

हस्तपा ने घोषणा की है कि देवेंद्र को वह फ्रेंच आल्प्स में हाई एल्टीट्यूड ट्रेनिंग के लिए भेजेगा और इसमें जितना भी खर्च आएगा, वह उसे वहन करेगा। देवेंद्र भारत के लिए ओलम्पिक में हिस्सा लेना चाहते हैं और इस क्रम में फ्रेंच आल्प्स की उनकी ट्रेनिंग काफी मददगार साबित हो सकती है।

देवेंद्र इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। देवेंद्र ने कहा, “ओलम्पिक में हिस्सा लेना मेरा सपना है। मैंने एमटीपी हिमालया रैली में भी हिस्सा लिया है, जो देश की बाकी रैलियों की तुलना में काफी कठिन है। हस्तपा ने मुझे फ्रांस भेजने का जो फैसला किया है, उससे मैं बहुत खुश हूं और मुझे उम्मीद है कि यह मेरे सपने को पूरा करनें मे मददगार साबित होगा।”

इंटरनेशनल माउंटन बाइक साइकिलिंग एसोसिएशन से सम्बद्ध हस्तपा के पास साइकिल रैली का अपार अनुभव है और काम में उसकी मदद के लिए एक बहुत ही समर्पित टीम है। मोहित सूद और आशीष सूद की मेहनत को साकार करने में इस टीम की महान भूमिका है और इसी मेहनत का नजीता है कि देवेंद्र जैसे चालक भारत को मिले हैं, जिनकी बदौलत भारत ओलम्पिक में माउंटन बाइकिंग के क्षेत्र में प्रतिनिधित्व के बारे में सोच सकता है।(आईएएनएस)