असल जीवन में फर्राटेदार अंग्रेजी बोलती हैं अंगूरी भाभी

मुंबई, 08 जनवरी । अपने डायलॉग ‘सही पकड़े हैं’ से शिल्पा शिंदे घर-घर में मशहूर हो चुकी हैं। किसी समय सुपरहिट फि़ल्म ‘चक दे इंडिया’ में हॉकी प्लेयर के किरदार को न कहने वाली शिल्पा शिंदे अपने सबसे लोकप्रिय किरदार ‘अंगूरी भाभी’ को भी न ही कहने वाली थी। शिल्पा शिंदे एंड टीवी के बेहद लोकप्रिय धारावाहिक ‘भाभी जी घर पर हैं’ में अंगूरी देवी का किरदार निभा रही हैं।

पहले पहल उन्हें ‘अंगूरी’ का किरदार काफ़ी गँवई लगा था और वो अंग्रेज़ी बोलने वाली मॉर्डन ‘अनीता भाभी’ बनना चाहती थी। टीवी स्क्रीन पर अंग्रेज़ी की टांग तोडऩे वाली ‘अंगूरी’ असल में फर्ऱाटेदार अंग्रेज़ी बोलती हैं और अपनी ग़लती पकड़े जाने पर ‘सही पकड़े हैं’ भी नहीं बोलती। शिल्पा ने अपने करियर की शुरुआत साल 2000 में की थी, लेकिन उनको पहचान मिली स्टार प्लस के धारावाहिक ‘भाभी’ से। इस धारावाहिक में उन्होंने नकारात्मक भूमिका निभाई थी। वैसे तो शिल्पा के खाते में ‘भाभी’, ‘मेहर’, ‘मायका’, ‘आम्रपाली’ और ‘चिडिय़ाघर’ जैसे धारावाहिक शामिल हैं, लेकिन शिल्पा को जितनी प्रसिद्धि ‘अंगूरी’ भाभी के किरदार ने दिलाई उतनी अभी तक किसी ने नहीं। वह भी इसे मानती हैं वह ‘अंगूरी’ नहीं बल्कि ‘अनीता’ बनना चाहती थी, मगर क्यों?

वह बताती हैं, जब मुझे यह ऑफऱ मिला, तब मैं ‘चिडिय़ाघर’ कर रही थी। उस समय मैं पारंपरिक औरत की भूमिका नहीं निभाना चाहती थी और वक्त की कमी भी थी, इसलिए मैंने ‘अनीता’ के रोल के लिए हामी भर दी। इसके बाद दो दिन की शूटिंग भी कर ली गई, लेकिन तभी मैंने ‘चिडिय़ाघर’ छोड़ दिया और फिर निर्देशक ने मुझे ‘अंगूरी भाभी’ करने को कहा। हालांकि मैं इसके लिए तैयार नहीं थी लेकिन फिर ‘चिडिय़ाघर’ में मेरा रोल ख़त्म हो जाने के बाद मुझे कोई आपत्ति नहीं रह गई थी। इस धारावाहिक में शिल्पा का डायलॉग ‘सही पकड़े हैं’ ख़ासा प्रचलित है, जिसे बतौर शिल्पा उनके कहने से ही डाला गया हैं। वे बताती हैं, मैं पहले अपने किरदार के लिए तैयार नहीं थी। जब बाद में कुछ बदलाव किए गए, तो मैं मान गई। खऱाब अंग्रेज़ी और तकिया कलाम वो बदलाव थे जिन्हें मैंने ही लेखक से स्क्रिप्ट में डलवाया।
मुंबई में पली-बढ़ी शिल्पा को कानपुर की ‘अंगूरी’ का लहज़ा लाने में कितनी मुश्किलें हुईं, इस पर हँसते हुए वो बताती हैं, मेरे सह-कलाकार डायलॉग प्रैक्टिस के दौरान काफ़ी मदद कर देते हैं। जहां तक लचककर चलने की अदा है, वो मैंने एक फल वाले की पत्नी को देखकर सीखा।

अपने लुक को निखारने के लिए शिल्पा ने स्टाइलिश साड़ी के साथ लाल चूडिय़ां और पीले सिंदूर को भी शामिल किया। सीरियल में मोबाइल पर कॉल करने से लेकर किसी को एसएमएस करने तक के लिए ‘लड्डू’ को आवाज़ देने वाली शिल्पा असल जिंदगी में काफ़ी टेकसेवी हैं। इंडस्ट्री में 15 साल बिता चुकीं शिल्पा के मुताबिक़ ‘अंगूरी’ उनके लिए ‘ड्रीम रोल’ सरीखा है क्योंकि इसने उन्हें वो शोहरत दिलवाई, जिसे पाने वह इंडस्ट्री में आई थी। निजी जिंदगी में शिल्पा अपने पिता की इच्छा के विपरीत जाकर इस इंडस्ट्री में आईं थी और उन्होंने दक्षिण की कुछ फि़ल्मों में भी काम किया। हिंदी फि़ल्म इंडस्ट्री में करियर बनाने का उनका सपना था, लेकिन उनको वैसे मौके नहीं मिले। वे कहती हैं, मैंने काम तलाशने और काम मिलने का काफ़ी इंतज़ार किया, लेकिन उतनी लकी नहीं रही। शिल्पा को ‘चक दे इंडिया’ की ‘महिला हॉकी टीम’ का हिस्सा बनने का भी प्रस्ताव आया था, लेकिन उन्होंने भीड़ का हिस्सा होने के बजाय, अकेले चलना बेहतर समझा। क्या वह किसी सोलो फि़ल्म में बड़ी अदाकारा बनने की ख़्वाहिश रखती हैं और इसीलिए छोटी फि़ल्में और रोल नहीं किए। शिल्पा तपाक से कहती हैं, सही पकड़े हैं।-एजेंसी