मौसम संबंधी उपग्रह स्कैटसैट-1 सफलतापूर्वक कक्षा में स्थापित

मौसम संबंधी उपग्रह स्कैटसैट-1 सफलतापूर्वक कक्षा में स्थापित

श्रीहरिकोटा, 26 सितम्बर | भारतीय ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान (पीएसएलवी) ने सोमवार सुबह देश के मौसम संबंधी उपग्रह स्कैटसैट-1 तथा अन्य सात उपग्रहों को सफलतापूर्वक कक्षा में स्थापित कर दिया। इनमें पांच विदेशी और दो घरेलू उपग्रह शामिल हैं। पीएसएलवी का प्रक्षेपण आंध्र प्रदेश में श्रीहरिकोटा स्थित रॉकेट लांच पैड से किया गया और इसी के साथ भारत ने सफलतापूर्वक एकल रॉकेट मिशन से एक और उपग्रह का प्रक्षेपण कर दिया। इसे भारत के 100 विदेशी उपग्रह प्रक्षेपण के लक्ष्य को पूरा करने की दिशा में मील के पत्थर के रूप में देखा जा रहा है।

फोटो: श्रीहरिकोटा स्थित रॉकेट लांच पैड से पीएसएलवी का प्रक्षेपण देखते लोग। (आईएएनएस)

इस सफलता के साथ भारत अंतर्राष्ट्रीय ग्राहकों के लिए कुल 79 उपग्रह सफलतापूर्वक लांच कर चुका है।

इस प्रक्षेपण की दिलचस्प बात यह रही कि पीएसएलवी का यह अबतक का सबसे लंबा प्रक्षेपण रहा, जिसमें दो घंटे और 15 मिनट का समय लगा।

इसरो के अध्यक्ष ए.एस. किरण कुमार ने कहा, “यह एक ऐतिहासिक दिन है। पीएसएलवी रॉकेट से हमने आठ उपग्रहों के प्रक्षेपण में सफलता हासिल की है।”

अध्यक्ष ने कहा, “दो घंटे लंबे अंतराल बाद पूरा मिशन सफलतापूर्वक संपन्न हो गया है।”

विक्रम साराभाई अंतरिक्ष केंद्र (वीएसएससी) के निदेशक के. सिवन ने कहा, “यह मिशन रोमांचक और सबसे लंबे समय का रहा। इस साल का दूसरा ऐतिहासिक मिशन जीएसएलवी-एमके 3 रॉकेट हो सकता है।”

44.4 मीटर लंबे और 320 टन वजनी पीएसएलवी रॉकेट ने सुबह 9.12 बजे अंतरिक्ष के लिए उड़ान भरी।

रॉकेट मिशन नियंत्रण कक्ष में इसरो के वैज्ञानिकों ने अपने-अपने कंप्यूटर स्क्रीन पर इस मिशन को पूरा होते देखा।

रॉकेट का मुख्य उपग्रह 371 किलोग्राम का स्कैटसैट-1 था, जो समुद्री व मौसम संबंधी अध्ययन से जुड़ा है। इसे उड़ान के 17 मिनट के भीतर 730 किलोमीटर दूर ध्रुवीय सौर स्थैतिक कक्षा में स्थापित किया गया।

अन्य सात उपग्रहों को भी रॉकेट के छोड़े जाने के दो घंटे 15 मिनट बाद 689 किलोमीटर दूर ध्रुवीय कक्षा में स्थापित कर दिया गया।

पीएसएलवी के साथ भेजे गए पांच विदेशी उपग्रहों में अल्जीरिया के तीन (अल्सैट-1 बी 103 किलोग्राम, अल्सैट-2 बी 117 किलोग्राम, अल्सैट-1एन सात किलोग्राम), कनाडा का एक (एनएलएस-19 आठ किलोग्राम) तथा अमेरिका का एक (पाथफाइंडर-44 किलोग्राम) उपग्रह शामिल हैं।

पीएसएलवी के साथ स्कैटसैट-1 के अलावा भेजे गए दो अन्य भारतीय उपग्रहों में भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, बंबई द्वारा तैयार प्रथम (10 किलोग्राम) और पीईएस विश्वविद्यालय, बेंगलुरू का पिसैट (5.25 किलोग्राम) शामिल है।               –आईएएनएस