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फिल्में बनाना एक सबसे बड़ा नशा : टिस्का

नई दिल्ली, 1 दिसम्बर | अपनी पहली लघु फिल्म ‘चटनी’ के निर्माण के दौरान अभिनेत्री टिस्का चोपड़ा को नशा होने जैसा महसूस हुआ था। उन्होंेने फिल्म बनाने के सुरूर को नशे जैसा ही बताया।

‘रॉयल स्टैग बैकल सेलेक्ट लार्ज शार्ट फिल्म्स’ परियोजना इस हफ्ते की शुरुआत में डिजिटल प्लेटफॉर्म पर जारी हुआ है, जिसे 48 घंटों के भीतर 50 लाख से भी ज्यादा बार देखा गया।

ज्यादातर दिल्ली और गुरुग्राम में फिल्माई गई लघु फिल्म के बारे में टिस्का ने आईएएनएस को मुंबई से फोन पर बताया, “मैंने उस नशे को महसूस किया। जब पुराने जमाने में लोग कहते थे कि उस निर्माता ने फिल्म बनाने पर अपना सारा पैसा खर्च कर दिया तो अब जाकर मुझे इस बात का मतलब समझ आया।”

उन्होंने फिल्म पर काम करने के अनुभव को उत्साहजनक बताया। अभिनेत्री ने इसे अपने जीवन का एक सबसे अच्छा अनुभव बताया।

टिस्का ने कहा कि वह ऐसा दोबारा करना चाहेंगी। उन्होंेने 15 मिनट में कुछ करने को आजादी महसूस करने जैसा बताया, जिसमें अपनी कहानी कह के बस आगे बढ़ जाना है। अभिनेत्री को यह रोमांचकारी लगता है।

अभिनेत्री लघु फिल्म ‘चटनी’ की सफलता से बेहद खुश हैं। फिल्म में नई आकांक्षाओं के बीच भारत के मध्यम वर्ग की कहानी दर्शाई गई है।

टिस्का ने कहा कि वह एक कलाकार के रूप में रंगमंच पर इस फिल्म की कहानी से जुड़े पात्र के किरदार को निभाती थीं। पिछले 15-16 सालों से उनके मन में इस विषय पर फिल्म बनाने का ख्याल आ रहा था। ज्योति कपूर ने इसका निर्देशन किया है। अभिनेत्री को लगता है कि आजकल लेखन पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया जा रहा है।

उन्होंने इस विषय पर फिल्म बनाने के बारे में कहा कि उन्हें व्यंगात्मक कहानी पसंद है और उन्हें यह बात पसंद है कि लोग जिस बात के लिए दूसरों की आलोचना करते हैं, उसे खुद भी करते हैं।

अभिनेत्री का कहना है कि लेखन द्वारा कहानी को अच्छी तरह से गढ़ा होना चाहिए।

फिल्म निर्देशन के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि फिलहाल वह इस बारे में कुछ नहीं कह सकतीं, लेकिन वह कभी भी ना नहीं कहेंगी।

===नतालिया निंगथौजम

(फाइल फोटो)