‘चिरायु’ अभियान से दूर किए जाएंगे बच्चों के जन्मजात रोग

रायपुर, 12 मार्च। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने कहा है कि राज्य सरकार का ‘चिरायु’ अभियान प्रदेश में इलाज की जरूरत वाले शत-प्रतिशत बच्चों के इलाज की गारंटी का अभियान है। उन्होंने कहा कि इस अभियान के माध्यम से राज्य सरकार का यह प्रयास है कि इलाज के अभाव में बच्चों का बचपन न छिने और उनके परिवार की खुशियां बनीं रहें।

मुख्यमंत्री ने आज यहां न्यू सर्किट हाऊस में बच्चों में जन्मजात पैरों की विकृति (मुड़े पैरों) के इलाज के लिए चिरायु अभियान के अंतर्गत क्लब फुट प्रबंधन कार्यक्रम का शुभारंभ किया। उन्होंने इस अवसर पर स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के लोगो (विभागीय चिन्ह) का विमोचन भी किया। क्लब फुट प्रबंधन कार्यक्रम राज्य सरकार के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग द्वारा अंतर्राष्ट्रीय समाज सेवी संस्था क्योर इंडिया इंटरनेशनल के सहयोग से प्रारंभ किया गया है।

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि बहुत से बच्चों को जन्मजात हृदय रोग होता है, बहुत से बच्चों को कॉक्लियर इम्पलांट की जरूरत होती है। कई बच्चों के होंठ कटे फटे होते हैं। कई बच्चों को साधारण इलाज और कौंसलिंग की जरूरत होती है। चिरायु अभियान के तहत ऐेसे सभी बच्चों को चिन्हांकित कर उनका शत-प्रतिशत इलाज राज्य सरकार द्वारा कराया जा रहा है।

प्रदेश के स्कूलों और आंगनबाड़ी केन्द्रों में ऐसे बच्चों की पहचान के लिए अगस्त 2014 से चिरायु अभियान प्रारंभ किया गया। अभियान के दौरान लगभग 66 लाख बच्चों का स्वास्थ्य परीक्षण कराया गया। इनमें से लगभग 2 लाख बच्चों चिन्हांकित किया जिन्हें इलाज की जरूरत थी इनमें से एक लाख 76 हजार बच्चों का उपचार हो चुका है।

चिरायु अभियान का द्वितीय चरण एक नवम्बर 2015 से प्रारंभ हुआ है जिसके तहत इलाज की जरूरत वाले सभी बच्चों का उपचार आगामी जून माह तक कराने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। मुख्यमंत्री ने इस अभियान में सभी लोगों से सक्रिय भागीदारी का आव्हान किया  है।

उन्होंने बताया कि इस दौरान क्लब फुट की विकृति वाले चिन्हांकित सभी दो हजार 362 बच्चों का भी नि:शुल्क इलाज कराया जाएगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ में नक्सल आतंक से बड़ी चुनौती स्वस्थ्य पीढियों के निर्माण की है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में शिशु मृत्यु दर, मातृ मृत्यु दर और बच्चों में कुपोषण की कमी के सूचकांक देश के सबसे विकसित राज्य केरल से भी बेहतर करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है।