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नौकरशाही प्रधानमंत्री की सोच के अनुरूप काम करें : वेंकैया नायडू

नई दिल्ली,30 जून (जनसमा)। केन्द्रीय मंत्री एम. वेंकैया नायडू ने शुक्रवार को  कहा कि काफी समय से नौकरशाही को यथास्थिति बनाए रखने और सुरक्षित होकर कार्य करने के प्रतीक के रूप में देखा जा रहा है। उन्होंने अधिकारियों से प्रधानमंत्री की अपेक्षा के अनुरूप स्टिरियों टाइप व्यवहार छोड़ने का अनुरोध किया।

नायडू ने नौकरशाही से नया सोचने और नए तरीकों से कार्य करने का अनुरोध किया ताकि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की आशाओं के अनुरूप प्रशासनिक काम किया जा सके।

यह बात उन्होंने अपने मंत्रालय से संबंधित सचिवों के सेवानिवृत्त और स्थानांतरण के अवसर पर अपने आवास पर आयोजित विदाई समारोह में अपने मंत्रालयों के लगभग 100 वरिष्ठ अधिकारियों को संबोधित करते हुए कही। नायडू के पास तीन अहम मंत्रालय सूचना और प्रसारण, शहरी विकास तथा आवास एवं शहरी गरीबी उन्मूलन हैं।

नायडू ने किफायती आवास योजना को बढ़ावा देने में योगदान के लिए सेवानिवृत्त हो रही डॉक्टर नंदिता दास चटर्जी की, परिवर्तनकारी शहरी सुधारों को आगे बढ़ाने के लिए गृह सचिव के रूप में कार्यभार संभालने वाले राजीव गाबा की तथा सूचना और प्रसारण मंत्रालय में अपने अच्छे कार्य के रूप में सचिव (कार्मिक) के रूप में जाने वाले अजय मित्तल के कार्यों की प्रशंसा की। उन्होंने नए सूचना एवं प्रसारण सचिव एन. के. सिन्हा और नए सचिव (यूडी) डी. एस. मिश्रा का भी स्वागत किया।

नायडू ने कहा कि “प्रधानमंत्री नई सोच और नए विचारों का भंडार हैं और हमें उनका अनुकरण करना चाहिए। वे हमसे नई सोच और नए तरीके से कार्य करने की अपेक्षा रखते हैं। इसके द्वारा उनका उद्देश्य अधिक उत्पादन और बेहतर परिणाम के लिए नई सोच अपनाना है।”

उन्होंने कहा कि
उन्होंने सुझाव दिया कि अधिकारियों को भूतकाल से निर्देशित न होकर देश और जनता के अच्छे भविष्य से प्रेरित होना चाहिए। भूतकाल केवल सही मार्ग अपनाने का संदर्भ होगा ताकि भविष्य की चुनौतियों का मुकाबला किया जा सके क्योंकि देश अब नए भविष्य को तलाशने और आगे बढ़ने के लिए आतुर है।

इस अवसर पर योजना राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार), शहरी विकास और शहरी गरीबी उन्मूलन राज्यमंत्री, राव इन्द्रजीत सिंह, सूचना एवं प्रसारण राज्यमंत्री कर्नल राज्यवर्धन राठौर तथा प्रसार भारती के अध्यक्ष ए. सूर्य प्रकाश भी उपस्थित थे।